बड़ी खबर आपको बता दे की केंद्र सरकार ने राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (NFSA) के तहत 81.35 करोड़ गरीबों को एक साल तक free food वितरित करने का शुक्रवार को फैसला किया। केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में poor को free food grains का फैसला किया गया।
आपको बता दे की इसमें यह तय किया गया कि 81.35 करोड़ गरीबों को एक साल तक खाद्यान्न उपलब्ध कराने पर पड़ने वाले करीब दो लाख करोड़ रुपये के आर्थिक बोझ को केंद्र सरकार खुद उठाएगी।
बड़ी खबर आपको बता दे की Food Minister Piyush Goyal ने मंत्रिमंडल की बैठक में लिए गए इस फैसले की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि NFSA के तहत गरीबों को मुफ्त में अनाज मुहैया कराया जाएगा। इसके साथ ही सरकार ने 31 दिसंबर को खत्म होने जा रही Pradhan Mantri Garib Kalyan Anna Yojana (PMGKAY) की अवधि आगे न बढ़ाने का फैसला किया है।
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इआपको बता दे की स योजना के तहत सरकार की तरफ से 81.35 करोड़ लाभार्थियों को मुफ्त राशन दिया जाता रहा है। इस योजना के तहत दिया जाने वाला अनाज एनएफएसए के तहत मिलने वाले सब्सिडी-युक्त अनाज से अलग होता है।
आपको बता दे की खाद्य सुरक्षा की गारंटी देने वाले एनएफएसए कानून के तहत सरकार की तरफ से हरेक पात्र व्यक्ति को हर महीने पांच किलोग्राम खाद्यान्न दो-तीन रुपये प्रति किलो के भाव पर मुहैया कराया जाता रहा है।
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आपको बता दे की Antyodaya Anna Yojana में आने वाले परिवारों को हर महीने 35 किलोग्राम अनाज मिलता है। NFS के तहत गरीबों को Rs.3 per kg की दर पर rice और Rs.2 per kg की दर पर wheat मुहैया कराया जाता है।
सरकारी अधिकारियों ने एनएफएसए के तहत 81 करोड़ से अधिक लोगों को मुफ्त राशन देने के केंद्रीय मंत्रिमंडल के इस फैसले को देश के गरीबों के लिए ‘नए साल का उपहार’ बताते हुए कहा कि लाभार्थियों को अब खाद्यान्न के लिए एक भी रुपया नहीं देना होगा। इस पर आने वाले करीब दो लाख करोड़ रुपये के समूचे बोझ को सरकार ही उठाएगी।