चंद्रयान-3 मिशन में हिमाचल में मंडी जिले के पंजेठी गांव के रहने वाले विजय कुमार सेन भी शामिल रहे। विजय ने न केवल हिमाचल, बल्कि पूरे देश का नाम रोशन किया है। विजय के पिता को-ऑपरेटिव बैंक से रिटायर हैं, जबकि मां गृहणी हैं। माता-पिता को अपने बेटे की इस कामयाबी पर बहुत नाज है। उनका कहना है कि विजय बचपन से ही पढ़ाई में बहुत होनहार था।
विजय की पढ़ाई जवाहर नवोदय विद्यालय पंडोह से हुई है। उन्होंने ग्रेजुएशन हिमाचल प्रदेश यूनिवर्सिटी के अंतर्गत आने वाले IEET बद्दी से की है। गांववालों का कहना है की विजय हमारे बच्चों के लिया प्रेरणा का स्त्रोत है।
जानकारी के मुताबिक विजय ने बिना कोचिंग लिए ISRO का एंट्रेंस एग्जाम पास किया
इसके बाद उन्होंने बिना कोचिंग लिए ISRO का एंट्रेंस एग्जाम दिया और देशभर में पहला स्थान हासिल किया। 16 सितंबर 2010 में ISRO में बतौर साइंटिस्ट जॉइन किया। विजय के अध्यापकों का कहना है कि वह शुरू से ही शांत स्वभाव का है और पढ़ाई में बहुत होनहार है। विजय सेन ने चंद्रयान-3 से पहले मंगलयान और चंद्रयान 2 में अपना योगदान दिया है। विजय का छोटा भाई सुमित PWD में जेई है।